मृणाल सेन: कम्फ़र्ट ज़ोन लाँघने वाले फ़िल्मकार

मृणाल सेन स्व-शिक्षित तथा स्व-प्रशिक्षित फ़िल्म निर्देशक थे। अपनी फ़िल्म के डॉयलॉग लिखते, एडिटिंग में प्रयोग करते थे। उनका जीवन दर्शन था, ‘पृथ्वी टूट रही है, जल रही है, छिन्न-भिन्न हो रही है। तब भी मनुष्य बचा रहता है, ममत्व, प्यार और संवेदना के कारण।’